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Crypto Revolution: Demand for Legislation in India, Banks Given Free Rein in the US! PNC Bank Launches Bitcoin Trading | Crypto News Update
इस खास स्टोरी में हम बात करेंगे क्रिप्टो वर्ल्ड के लेटेस्ट शॉकिंग अपडेट्स की: भारत में वेब3 स्टार्टअप्स क्यों भाग रहे हैं? डॉ. के. लक्ष्मण ने क्यों सरकार से साफ रेगुलेशन की मांग की? अमेरिका में OCC ने बैंकों को क्रिप्टो ट्रेड्स की खुली छूट दी, और अमेरिका का 6ठा सबसे बड़ा बैंक PNC ने बिटकॉइन खरीद-बिक्री शुरू कर दी! क्या ये भारत के लिए चेतावनी है? अमेरिकी बैंकों की तरह भारत कब आगे बढ़ेगा?
इस वीडियो में:
भारत का इनोवेशन ड्रेन: स्टार्टअप्स दुबई-सिंगापुर क्यों शिफ्ट हो रहे?
US रेगुलेटर्स का ग्रीन सिग्नल: नेशनल बैंकों को रिस्क-फ्री क्रिप्टो ट्रेडिंग की मंजूरी।
PNC बैंक का धमाका: कोइनबेस के साथ पार्टनरशिप, प्राइवेट क्लाइंट्स के लिए डायरेक्ट BTC ट्रेडिंग।
भारत vs USA: क्रिप्टो एडॉप्शन में कौन जीतेगा?
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कमेंट में बताएं - क्या भारत को जल्दी रेगुलेशन लाना चाहिए?YouTube Channel: @beyourmoneymanagerडिस्क्लेमर: यह वीडियो एजुकेशनल पर्पस के लिए है। इन्वेस्टमेंट से पहले फाइनेंशियल एडवाइजर से सलाह लें।
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भारत में डिजिटल मुद्रा का आगाज: पियूष गोयल ने अविकसित क्रिप्टोकरेंसी पर चिंता व्यक्त की IICryptoCurrency II Digital Currency II Bitcoin II
भारत सरकार ने हाल ही में डिजिटल मुद्रा (Central Bank Digital Currency - CBDC) के प्रस्ताव को मंजूरी दी है, जिसका उद्देश्य भारतीय रुपये को डिजिटल रूप में सशक्त बनाना है। केंद्रीय वित्त मंत्री, श्री पियूष गोयल ने इस पहल की दिशा में अपने विचार प्रस्तुत करते हुए अविकसित और अवैध क्रिप्टोकरेंसी के खतरे पर भी चिंता व्यक्त की है। उनके अनुसार, डिजिटल मुद्राओं का प्रचलन एक अत्याधुनिक वित्तीय प्रणाली का हिस्सा बन सकता है, लेकिन साथ ही क्रिप्टोकरेंसी जैसे असुरक्षित विकल्पों से बचाव करना भी आवश्यक है।
डिजिटल मुद्रा: एक क्रांतिकारी कदम
डिजिटल मुद्रा का परिचय भारतीय अर्थव्यवस्था में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। यह पारंपरिक मुद्रा का एक डिजिटल रूप है, जिसे भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) द्वारा जारी किया जाएगा। डिजिटल रुपये की शुरुआत से मुद्रा का लेन-देन और वित्तीय लेन-देन की प्रक्रिया तेज, सुरक्षित और पारदर्शी होगी। इसके अलावा, इसे डिजिटल भुगतान प्रणाली के साथ जोड़ा जाएगा, जिससे देश में डिजिटल वित्तीय समावेशन को बढ़ावा मिलेगा।
पियूष गोयल का बयान
भारत के वाणिज्य और उद्योग मंत्री पियूष गोयल ने डिजिटल मुद्रा के बारे में अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि यह कदम न केवल भारतीय रुपये को एक मजबूत डिजिटल पहचान देगा, बल्कि वैश्विक वित्तीय प्रणाली में भी भारत की स्थिति को सुदृढ़ करेगा। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि हालांकि डिजिटल मुद्रा एक उत्तम विकल्प हो सकता है, लेकिन अविकसित क्रिप्टोकरेंसी और उनके जोखिमों के बारे में सावधानी बरतना आवश्यक है। पियूष गोयल ने इस संबंध में चेतावनी दी कि क्रिप्टोकरेंसी के अव्यवस्थित और असुरक्षित रूप में निवेश से वित्तीय बाजारों में अस्थिरता पैदा हो सकती है।
अविकसित क्रिप्टोकरेंसी का खतरा
पियूष गोयल ने यह भी स्पष्ट किया कि डिजिटल मुद्रा का मुकाबला करने के लिए अविकसित क्रिप्टोकरेंसी का इस्तेमाल न केवल जोखिमपूर्ण है, बल्कि यह अवैध गतिविधियों को भी बढ़ावा दे सकता है। क्रिप्टोकरेंसी का कोई केंद्रीय नियंत्रण नहीं होता, जिससे यह भ्रष्टाचार, मनी लॉन्ड्रिंग और आतंकवाद वित्तपोषण जैसे अपराधों के लिए एक आसान रास्ता बन सकता है। इसके अलावा, क्रिप्टोकरेंसी के उतार-चढ़ाव से निवेशकों के पैसे का नुकसान हो सकता है, जिससे आर्थिक अस्थिरता पैदा हो सकती है।
भारत में डिजिटल मुद्रा का भविष्य
भारत में डिजिटल मुद्रा का भविष्य उज्जवल दिखाई देता है, क्योंकि यह न केवल भुगतान की प्रक्रिया को सुगम बनाएगा, बल्कि भारत को वैश्विक वित्तीय प्रणाली में एक प्रमुख भूमिका भी दिलाएगा। इसके साथ ही, सरकार का ध्यान इस बात पर भी है कि डिजिटल मुद्राओं का सुरक्षित और नियंत्रित तरीके से प्रचलन हो, ताकि इससे जुड़े जोखिमों को कम किया जा सके।
निष्कर्ष
भारत में डिजिटल मुद्रा का आगाज एक सकारात्मक पहल है, जो न केवल भारत की आर्थिक प्रणाली को सशक्त बनाएगा, बल्कि देश को डिजिटल वित्तीय समावेशन की दिशा में एक कदम और आगे बढ़ाएगा। वहीं, क्रिप्टोकरेंसी के खतरे और जोखिमों को ध्यान में रखते हुए सरकार ने इस क्षेत्र में सतर्कता बरतने की आवश्यकता जताई है। आने वाले समय में, यह देखना होगा कि भारत में डिजिटल मुद्रा किस तरह से लागू होती है और क्रिप्टोकरेंसी के प्रभाव को कैसे नियंत्रित किया जाता है।
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Big Decision on Crypto Assets in G20 Finance Ministers and Central Bank Governors Meeting
G20 देश बिटकॉइन समेत सारे क्रिप्टोकरेंसी एसेट्स को लेकर कुछ और आगे बढ़े हैं। मोरक्को के मराकेश में 13 अक्टूबर तक जी 20 देशों के वित्त मंत्रियों और केंद्रीय बैंकों के गवर्नर (G-20 FMCBG)की बैठक में क्रिप्टोकरेंसी एसेट्स को लेकर कुछ फैसले लिये गए हैं। इस फैसले का क्रिप्टोकरेंसी के कारोबारियों ने स्वागत किया है। क्रिप्टोकरेंसी पर क्या फैसला लिया गया और उस फैसले से क्रिप्टोकरेंसी में पैसा लगाने वालों को क्या फायदा होगा, पूरी जानकारी के लिए इस एपिसोड को अंत तक देखें।
Big Decision on Crypto Assets in G20 Summit 2023
क्या दुनिया भर में क्रिप्टोकरेंसी पर बैन लगेगा या फिर क्रिप्टोकरेंसी पर कानून बनेगा। भारत में सितंबर 2023 में हुए G20 सम्मेलन में क्रिप्टोकरेंसी पर बड़ा फैसला लिया गया है। पूरी खबर जानने के लिए इस एपिसोड को अंत
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For Cryptocurrency Earning Which is Right ITR Form?
सरकार को वित्त वर्ष 2022-23 की कमाई की जानकारी देने के लिए निर्धारण वर्ष 2023-24 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न यानी ITR भरने का सीजन चल रहा है। अगर आपकी कमाई क्रिप्टोकरेंसी से हुई है, तो ऐसे में सवाल उठता है कि आपको कौन सा आईटीआर फॉर्म भरना सही होगा?
Centre brings crypto assets under PMLA
अगर आप बिटकॉइन, रिप्पल, इथीरियम जैसे प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी या फिर एनएफटी जैसे डिजिटल एसेट्स में लेन-देन करते हैं तो आपके लिए जरूरी खबर है। खबर को विस्तार से जानने के लिए वीडियो को अंत तक देखें।
बिटकॉइन, रिप्पल जैसे प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी और डिजिटल करेंसी पर प्रतिबंध लगाने की मांग जोर पकड़ रही है। भारत का केंद्रीय बैंक भारतीय रिजर्व बैंक लंबे समय से इन क्रिप्टोकरेंसी पर रोक लगाने की मांग कर रहा है। उधर, अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की क्रिस्टालिना जॉर्जीवा ने इस मांग का समर्थन किया है। उन्होंने बंगलुरू में चल रही जी-20 के केंद्रीय मंत्रियों और केंद्रीय बैंकों के गवर्नरों की बैठक स्थल के पास संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी और डिजिटल करेंसी पर प्रतिबंध लगाना एकमात्र विकल्प है और इसके लिए वैश्विक स्तर पर कानून बनाया जाना चाहिए।
क्रिस्टालिना जॉर्जीवा ने कहा कि हमें सरकारों द्वारा जारी किए जा रहे डिजिटल करेंसी (जैसे भारत का डिजिटल रुपया), स्टेबल कॉइन और प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी या डिजिटल करेंसी में फर्क करना होगा। उन्होंने प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी को वित्तीय स्थिरता के लिए खतरा बताया है।
भारत में बिटक्वाइन समेत दूसरी क्रिप्टोकरेंसी पर रोक है या नहीं है, इस बात को लेकर सरकार और देश के केंद्रीय बैंक RBI की बातों में असमंजस है। किसकी बात मानी जाए और किसकी नहीं।
केंद्रीय वित्त राज्यमंत्री अनुराग ठाकुर कहना है कि सरकार ने देश में क्रिप्टोकरेंसी पर रोक नहीं लगाई है। वहीं RBI इस पर रोक लगा चुका है और साफ भी किया है कि देश में किसी को क्रिप्टोकरेंसी के खनन, लेन-देन, स्टोर करने का लाइसेंस नहीं दिया गया है।
उधर, अनुराग ठाकुर का आगे कहना है कि देश में क्रिप्टोकरेंसी के मसले के लिए कोई अलग कानून नहीं है. उन्होंने कहा कि भारतीय रिजर्व बैंक (RBI), प्रवर्तन निदेशालय (ED) और इनकम टैक्स जैसे संबंधित विभागों ने मौजूदा नियमों के मुताबिक इस मसले पर कदम उठाए हैं।
वित्त राज्य मंत्री ने कहा, "क्रिप्टोकरेंसी से जुड़े जोखिम और खतरे को देखते हुए सरकार और आरबीआई लोगों के हित में सलाह, प्रेस रिलीज और सर्कुलर जारी करती रही हैं." इस हफ्ते क्रिप्टोकरेंसी मसले पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होने वाली है।
उधर, इस सबके बीच क्रिप्टोकरंसी पर गठित अंतर-मंत्रालयी समिति ने अपनी रिपोर्ट सरकार को दे दी है। उसमें क्रिप्टोकरेंसी पर रोक लगाने और रिजर्व बैंक द्वारा डिजिटल करेंसी लॉन्च करने की बात कही है।